वर्गपहेली varga paheli–871 : जो काल का ग्रास बन चुका हो
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छनीक पकसीलोवार नीखोद लिकागानि रललका तछ तलिअक जआकल लाझो लल वतककालिल
बाएँ से दाएँ
1. आठ अक्षरों का एक वर्णवृत्त।
4. 1. ललकारने की क्रिया या भाव 2. प्रतिपक्षी को दी गई चुनौती।
6. इस समय; वर्तमान युग में।
7. 1. नाम मात्र का 2. जिसकी गणना ही न हुई हो।
9. 1. सीमेंट
10. 1. खोदने का उपकरण 2. गैंती; कुदाल 3. दंतखोदनी; कनखोदनी 4. कुरेदनी।
11. 1. कपड़े या टाट आदि का बना थैला; झोली 2. खोली; गिलाफ़ 3. साधुओं का ढीला कुरता; चोला 4. एक वात रोग जिसमें कोई अंग काम न करके झूलने लगता है; लकवा 5. पाला या लू आदि के कारण पेड़-पौधों के सूख जाने का रोग 6. झोंका 7. लहर; हिलोर 8. बाधा 9. दुविधा; असमंजस 10. चंचलता।
ऊपर से नीचे
2. जो काल का ग्रास बन चुका हो; मृत; मरा हुआ।
3. परलोक में वास करने वाला; मरा हुआ; मृत।
5. 1. कामना; इच्छा; चाह; लालसा 2. झूठ; मिथ्या।
8. 1. घुटने तक या उससे ऊपर बाँधी जाने वाली धोती
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